Tuesday 19 September 2017

// मुझे तो ये सरकार ही 'रोहिंग्या सरकार' लगती है .. ..//


आजकल रोहिंग्या मुसलमानों का मामला सुर्ख़ियों में है - और सुर्खियों में रहते हुए देश की अन्य कई समस्याओं पर चर्चा नहीं होने के कारण मोदी सरकार के लिए एक लाभदायक मुद्दा सिद्ध हो रहा है .. ठीक वैसे ही जैसे एक और हनीप्रीत का अति संवेदनशील और महत्वपूर्ण मुद्दा !! .. ..

और ये मामला बड़ा ही पेचीदा लग रहा है - माना जा रहा है - बनाया जा रहा है .. जबकि ये मामला मेरी दृष्टि में सीधा सपाट है .. ..

मानवता की दृष्टि से रोहिंग्या मुसलमानों को देश में शरण दे दी जानी चाहिए .. ..
अंतर्राष्ट्रीय कानून की दृष्टि से इन्हें देश में शरण दी जाना आवश्यक होगा .. ..
देश के स्वार्थ हित में रोहिंग्या मुसलमानों को देश में शरण नहीं दी जानी चाहिए .. ..

और यदि रोहिंग्या मुसलमान आतंकवादी गतिविधियों में या देशद्रोही गतिविधियों में शामिल थे - जैसे कि सरकार ने आरोप लगाए हैं - तो रोहिंग्या मुसलमानों को या तो देश बाहर कर देना चाहिए या गिरफ्तार कर कड़ी से कड़ी सज़ा भी देना चाहिए .. और सरकार ने देश से माफ़ी माँगना चाहिए कि अब तक ऐसी कोई कार्यवाही क्यों नहीं हुई थी - और सरकारी दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा स्वयं ले लेनी चाहिए - जैसे चैराहे पर खड़े होकर अपने ही जूते से अपनी पिटाई कर लेनी चाहिए .. ..

पर दिक्कत क्या है - मैं बताता हूँ !! .. मोदी सरकार की नीयत ठीक नहीं है - नीयत में सांप्रदायिक सोच और स्वार्थ देश के हितों और मानव हितों से भी ज्यादा हावी है .. और ये सरकार ऐसे किसी भी विषय में न्यायोचित कदम उठाने में सक्षम नहीं है - क्योंकि इस पंगु सरकार के पास चलने के लिए पाँव भी नहीं है - तो कदम क्या खाक उठाएगी ?? .. ..

और ऐसा मैं इसलिए कह रहा हूँ कि ये सरकार आज तक काश्मीरी पंडितों के लिए या धारा ३७० हटाने के लिए या यूनिफाइड कोड लाने के लिए या राम मदिर बनाने के लिए या पूर्व में किये गए किसी अन्य वायदे के लिए ही कोई सार्थक उचित कदम उठाते भी तो नहीं दिखी !! .. और ना ही बांग्लादेशियों के विषयक या अन्य देशों से आए शरणार्थियों या घुसपैठियों के विषयक कोई नीति निर्माण कर उस पर अमल करते दिखी .. ..

इसलिए मुझे तो ये सरकार ही 'रोहिंग्या सरकार' लगती है - लचर बेचारी खानाबदोश बिना ठौर-ठिकाने बिना हैसियत बिना औकात !! .. ..

ब्रह्म प्रकाश दुआ
'मेरे दिमाग की बातें - दिल से':- https://www.facebook.com/bpdua2016/?ref=hl

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